पप्पू दारू पी के ताला खोलने लगा,
हाथ कापने की वजह से ताला नही
खुला,
.
.
.
संता- मैं खोल दूँ,
.
पप्पू- मैं खोल लूँगा,
तू घर को पकड़,
साला बहुत हिल रहा है.

Comments

Popular posts from this blog

जोग ठगौरी ब्रज न बिकैहै

संदेसो दैवकी सों कहियौ

जसुमति दौरि लिये हरि कनियां